बल्लुने बेल बजाई और वंदनाभाभीने खुद दरवाजा खोला..
अंदर आनेके बाद वंदना नहाकर आइ.
वंदनाभाभीने जानबुझकर अपने साडीका पल्लू गिराकर बल्लूको इम्प्रेस किया.
और टॉइलेटके बहानेसे वंदनाभाभी बल्लूको किचनमे लेकर गइ और बल्लुने कुछ एसे किया...
ठिक उसके बाद वंदनाभाभीने अपने आम बल्लूसे चुसवाए...
बहोत दिनोसे वंदनाभाभी बेचारी अकेली थी और वीजु उसे छुता भी तो उसे वह अपने पास नही आने देती..ना वो उसे अपने बगलमै सुलाती. उसे बल्लुके शरीरकी भुक और बल्लुकी ठोकनेकी अदा बेहद पसंद थी क्योकी बल्लु उसके नौकिले आम बेहद पसंत करता था और उसी जोशमे उसे ठोकता भी था.
एक दीन उसने अपना दिमाख लगाकर अपने वकिलको...